दिवाली पर अलवर व भरतपुर जिले में पटाखे जलाने पर लगाई रोक
Bhiwadi. दिल्ली एनसीआर में वायु प्रदूषण की रोकथाम के लिए ग्रेडेड एक्शन रिस्पांस प्लान (ग्रेप) का दूसरा चरण लागू हो गया है लेकिन इसके बावजूद हवा ज़हरीली हो गई है। दिल्ली-एनसीआर को गैस चेम्बर बनने से रोकने के लिए दिवाली पर पटाखों पर रोक लगाई गई है। इसके तहत एनसीआर में आने वाले राजस्थान के अलवर ( Alwar) और भरतपुर (Bharatpur) शहरों में इस बार दीपावली पर पटाखों पर पूरी तरह से रोक लगाई गई है। वहीं प्रदेश के अन्य शहरों में दो घंटे रात आठ से दस बजे तक पटाखे चलाए जा सकेंगे। राज्य सरकार के गृह विभाग की गाइडलाइन के अनुसार प्रदेश के 31 जिलों के केवल ग्रीन पटाखे, ग्रीन आतिशबाजी ही हो सकेगी। गृह विभाग ने जयपुर और जोधपुर के पुलिस आयुक्त एवं अन्य जिला कलक्टरों को गाइडलाइन भेजी है। ग्रीन पटाखों को पर्यावरण के लिए कम से कम नुकसान पहुंचाने वाली आतिशबाजी माना जाता है। ग्रीन पटाखों में सल्फर नाइट्रेट, आर्सेनिक, मैग्नीशियम, सोडियम, लेड और बोरियम जैसे केमिकल नहीं होते हैं।

पटाखों को लेकर गाइडलाइन जारी
दरअसल, दिल्ली के निकट होने और फैक्ट्रियां अधिक होने के कारण अलवर एवं आगरा ताजमहल के निकट होने के कारण भरतपुर में पटाखों पर पूरी तरह रोक लगाई गई है। प्रदेश के गृह राज्यमंत्री राजेंद्र यादव ने बताया कि सर्वाच्च न्यायालय के आदेश के हिसाब से ही पटाखों को लेकर गाइडलाइन जारी की गई है।
ग्रीन पटाखे बेचने और चलाने की अनुमति
प्रदेश में इस बार केवल ग्रीन पटाखे बेचने और चलाने की अनुमति दी गई है। सरकार ने दीपावली पर किसी आकस्मिक घटना से निपटने के लिए अग्निशमन दल और आपदा प्रबंधन दलों को भी सचेत रहने के लिए कहा है। दीपावली पर साम्प्रदायिक सौहार्द कायम रहे इसको लेकर जिला पुलिस अधीक्षकों को सर्तकता बरतने के लिए कहा गया है।
गाइडलाइन के अनुसार समय की रहेगी पाबंदी
जानकारी हो कि गाइडलाइन के अनुसार दिवाली हो या गुरुपर्व या और अन्य कोई भी त्योहारों पर रात के 8 से 10 बजे तक ही ग्रीन पटाखे या ग्रीन आतिशबाजी की अनुमति होगी। वहीं, मालूम हो कि छठ पर्व पर तो सुबह के छह से आठ बजे तक आतिशबाजी की अनुमति होगी। दूसरी और न्यू ईयर और क्रिसमस पर रात 11:55 से 12:30 बजे तक ग्रीन आतिशबाजी की जा सकती है ।